200 करोड़ रूपये की लगात बनाया जा रहा एलिवेटेड पुल आर्थिक मंदी की चपेट में

व्‍यूज़ 24 (भगत तेवि‍तया - पलवल, हरियाणा) :: राष्ट्रीय राजमार्ग पर पलवल शहर के अंदर यातायात जाम से निजात पाने के लिए 200 करोड़ रूपये की लगात बनाया जा रहा एलिवेटेड पुल आर्थिक मंदी की चपेट में आ चुका है। बजट की कमी के कारण निमार्णकंपनी एलएनटीं ने काम लगभग बंद कर दिया है। जिसके बाद एक बार फिर से एस पुल के निमार्ण पर सकंट के बादल मंडराने लगे है। शहरी क्षेत्र में बनाए जा रहे करीब तीन किलोमीटर लंबे एलिवेटेड पुल के निर्माण में चल रही देरी के कारण दिल्ली-आगरा की तरफ जाने वाले स्थानीय व देशी-विदेशी पर्यटकों को बेहद परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।

राजमार्ग पर सिक्स लेन के निर्माण कार्य के कारण यहां आए दिन होने वाली परेशानी व रिहायशी और व्यवसायिक स्थलों के तोड़े जाने की स्थिति में मुख्यमंत्री मनोहर लाल व केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से लोगों ने पुल बनाने की मांग की थी। बाद में मुख्यमंत्री की मांग पर केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने एलिवेटेड पुल बनाने की मंजूरी दे दी। करीब दो किलोमीटर से ज्यादा लंबे बनाए जाने वाले इस पुल पर करीब 200 करोड़ रुपये खर्च आने का अनुमान है। पुल का निर्माण कार्य शुरू कराने के समय निर्माण पूरा करने की अवधि 20 महीने रखी गई थी, लेकिन वर्ष 2019 लगभग खत्म हो चुका है लेकिन अभी पुल का काम पूरा नहीं किया गया है। ऐलिवेटेड पुर का केवल 52 प्रतिशत काम ही पूरा हो पाया है। और अब एक बार फिर से बजट की कमी के कारण निमार्णकंपनी एलएनटी ने काम को बंद कर दिया है और पिछले काफी समय से काम बंद पडा हुआ है। दरअसल राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण भारत सरकार द्वारा इस पुल के निमार्ण कार्य का जिम्मे रिलायंस को दिया गया है। लेकिन रिलायंस ने एलएनटी से निमार्ण कार्य करवा रही है। लेकिन एलएनटी ने बजट की कमी के कारण काम को बंद कर दिया है। काम बंद होने का कोई ये पहला मामला नही है । इससे पहले भी कई बार इस पुल का काम बंद हो चुका है। इस एलिवेटेड पुल में 80 पिलर होंगे, जिसमें 695 पाइल होंगी। दिल्ली से फरीदाबाद होते हुए पलवल के रास्ते मथुरा और आगरा जाने वाले लोगों को इसके बन जाने से जाम की कोई समस्या नही होगी। लेनिक मौजूदा हालातों को देखते हुए लग रहे है कि शायद अभी इसको पूरा होने में कई साल ओर लगेंगे।

राष्ट्रीय राजमार्ग को छहमार्गीय करने के चलते पहले पलवल शहर के बीच से गुजर रहे राजमार्ग पर बीच-बीच में चौराहों पर पुल बनाने की बात कही गई थी, लेकिन ऐसा होने से शहर दो भागों में बंट जाता। इसे देेखते हुए शहर के लोगों की मांग पर वर्तमान विधायक व मुख्यमंत्री के तत्कालीन राजनीतिक सचिव दीपक मंगला की मांग पर व केंद्रीय राज्यमंत्री कृष्णपाल गुर्जर की अनुशंसा पर सीएम मनोहर लाल व केंद्रीय सड़क मंत्री नितिन गड़करी ने राजमार्ग पर एलिवेटेड रोड के निर्माण को मंजूरी दी थी। राजमार्ग को छहमार्गीय करने का कार्य कर रही कंपनी रिलायंस ने इस एलिवेटेड के निर्माण का करार एलएंडटी कंपनी के साथ किया था।राजमार्ग छह मार्गीय करने तथा एलिवेटेड पुल के निर्माण का कार्य भी इस बार कोहरे में दुर्घटना का कारण बन सकता है। एलिवेटेड के निर्माण कार्य के लिए सड़कों के दोनों तरफ बनाई जा रही सड़क के लिए खुदाई के दौरान निकलने वाली धूल-मिट्टी तो वहीं पड़ी रहती है, साथ ही सर्विस रोड पर वाहनों के दवाब के कारण रोड भी कई स्थानों से जर्जर हो चुकी है। खुदाई के कारण सड़क बनाने के लिए जो गड्ढे हुए हैं, उनके व सड़क के बीच में तथा नालों व सड़क के बीच में डिवाइडर भी ठीक से नहीं लगाए गए हैं, जिनसे सड़क पर चलना जोखिम भरा है। कई स्थानों पर सड़क की मरम्मत के चलते बीच-बीच में आधी सड़क पर अवरोधक खड़े किए गए हैं। रात के समय राजमार्ग पर डायवर्जन व अवैध कटों के पास न तो रिफलेक्टर लगाए गए हैं और न ही लाइटिंग की व्यवस्था है। इस कारण हर समय दुर्घटना का खतरा बना रहता है। पलवल के लोगो को भारी समस्याओं का सामना करना पड रहा है।

वहीं जिला पलवल कांग्रेस के नेताओं का कहना है कि अगर जल्द ही काम शुरू नही हुआ तो वह सरकरा के खिलाफ आन्दोलन करेंगे।

उधर, इस मामले में एनएचआई के अधिकारीयों का कहना है कि रिलायंस और एलएनटी के बीच बजट की समस्या होने के काम धीमा हो गया । और इस समस्या को दूर कर बंद किए गए काम को शुरू कराया जायेगा।

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